ऑस्ट्रेलिया, पर्थ में एक व्यक्ति ट्रेन पर चढ़ते समय फिसल गया और उसका पाँव ट्रेन के डिब्बे और प्लेटफार्म के बीच फंस गया। शीघ्र ही दर्जनों यात्री अपनी ताकत से डिब्बे को झुका के उस व्यक्ति को बचा लिये। ट्रेन सेवा के प्रवक्ता, डेविड हाइन्स ने कहा, “सभी लोग इकट्ठा हो गये। यह लोगों की ताकत ही थी जो किसी को सम्भवतः गम्भीर चोट से बचा ली ।”
इफिसियों 4 में, हम पढ़ते हैं कि परमेश्वर अपनी योजना के अन्तर्गत लोक शक्ति से ही अपना परिवार बनाता है। उसने हममें से हर एक को एक खास उद्देश्य हेतु अपने अनुग्रह का विशेष वरदान दिया है(पद.7) “जिससे सारी देह, हर एक जोड़ की सहायता से एक साथ मिलकर, …. अपने आप को बढ़ाती है कि वह प्रेम में उन्नति करती जाए”(पद.16) ।
परमेश्वर के परिवार में हर एक को कार्य करना है; कोई दर्शक नहीं है । परमेश्वर के परिवार में हम साथ में रोते और हँसते हैं । हम एक दूसरे का बोझ उठाते हैं । हम परस्पर प्रार्थना और उत्साहित करते हैं । हम परस्पर पाप से बचने के लिए चुनौति देते और मदद करते हैं । पिता दर्शाएँ कि आपके परिवार में हमारा क्या सहयोग हो सकता है?
आप दर्शक हैं या भागीदार? आपके पास क्या वरदान हैं? परमेश्वर आपका उपयोग दूसरों को उसके पास लाने के लिए कैसे कर सकता है?