मेरे मित्र ने लोगों के एक समूह के विषय बताया जिनका मसीह में मजबूत विश्वास है । उनमें से एक, 93 वर्षीय एक वृद्ध महिला ने कहा, “मुझे महसूस होता है कि जरुरत पड़ने पर मैं आप में से किसी को भी रात्री 2 बजे पुकार सकती हूँ, और मुझे खेद प्रकट करने की जरुरत नहीं है ।” चाहे प्रार्थना की, व्यवहारिक मदद, अथवा जरुरत के समय किसी की आवश्यकता, ये मित्र परस्पर बिना शर्त समर्पित हैं ।
समर्पण का समान भाव कुलुस्से में विश्वासियों को लिखी पौलुस की पत्री से चमकता है । पौलुस कहता है वह उन्हें उत्साहित करने हेतु तुखिकुस और उनेसिमुस को भेज रहा है(कुलु.4:7-9)। अरिस्तर्खुस, मरकुस, और यूस्तूस अपनी शुभकामनाएँ भेज रहे हैं(पद.10-11)। और इपफ्रास “सदा तुम्हारे लिए प्रार्थनाओं में प्रयत्न करता है ताकि तुम सिद्ध होकर पूर्ण विश्वास के साथ परमेश्वर की इच्छा पर स्थिर रहो”(पद.12) । यह व्यवहारिक मदद और गहराई में स्थापित प्रेम के दृढ़ आश्वासन हैं ।
क्या आप किसी रात्री 2 बजे समूह के अंश हैं? यदि हाँ, मित्रों की विश्वासयोग्यता हेतु धन्यवाद दें । यदि नहीं, प्रभु से कहें कि वह आपको किसी से मिलाए जिसके संग आप प्रार्थना और सहायता का एक समर्पण बाँट सकें । मुझे शंका है यह विकसित होगा जिससे और भी जुड़ेंगे । मसीह के प्रेम को परस्पर बाँटें ।
कुछ भी। कभी भी। कहीं भी। सब कुछ यीशु के नाम में!