टेक्सस में पला-बढ़ा मेरे एक चरवाहा मित्र के पास अनेक मजेदार उक्तियाँ हैं l मेरी एक पसंदीदा उक्ति है “अच्छी काफी बनाने में अधिक जल की ज़रूरत नहीं l” और जब किसी को बड़े बैल को संभालने में समस्या में होती है, मेरा मित्र चिल्लाता है, “जो तुम्हारे पास है उसे थामे रहो!” अर्थात् “सहायता पहुँच रही है! थामे रहना!”
प्रकाशितवाक्य में हम “आसिया की सात कलीसियाओं के नाम” पत्र पाते हैं (अध्याय 2-3) l परमेश्वर की ओर से ये संदेश प्रोत्साहन, ताड़ना, और चुनौति से भरे हैं, और ये आज हमसे उसी तरह बात करते हैं जैसे प्रथम शताब्दी के पाठकों से l
इन पत्रों में हमें दो बार यह वाक्यांश मिलता है, “जो तुम्हारे पास है उस को …. थामे रहो l” प्रभु ने थुआतीरा की कलीसिया से कहा, जो तुम्हारे पास है उस को मेरे आने तक थामे रहो” (2:25) l और फिलदिलफिया की कलीसिया से, “मैं शीघ्र ही आनेवाला हूँ; जो कुछ तेरे पास है उसे थामे रह कि कोई तेरा मुकुट छीन न ले” (3:11) l ये विश्वासी अत्यधिक परीक्षा और विरोध में, परमेश्वर की प्रतिज्ञाओं को थामे रहकर विश्वास में दृढ़ थे l
जब परिस्थितियाँ कठोर और आनंद से बढ़कर दुःख हो, यीशु कहते हैं, “जो तुम्हारे पास है उसे थामे रहना! सहायता पहुँच रही है!” और उसी प्रतिज्ञानुसार, हम अपने विश्वास को थामें रहकर आनंदित हों l