पाँच सप्ताह की बाइबल कक्षा के बारे में मुझे घबराहट हुई जिसे मैं स्थानीय चर्च में सिखाने के लिए तैयार हुआ था l क्या विद्यार्थी इसे पसंद करेंगे? क्या वे मुझे पसंद करेंगे? मेरी चिंता गलत ढंग से केन्द्रित थी, जिसने मुझे पाठ योजनाओं, प्रस्तुति स्लाइड्स(Slides), और क्लास विज्ञप्ति पत्रक(Handouts) को आवश्यकता से अधिक तैयार करने के लिए प्रेरित किया l फिर भी एक सप्ताह पहले तक, मैंने अभी भी कई लोगों को भाग लेने के लिए प्रोत्साहित नहीं किया था l

प्रार्थना में, हालाँकि, मुझे याद दिलाया गया कि कक्षा एक ऐसी सेवा थी जो परमेश्वर पर प्रकाश डालती थी l क्योंकि पवित्र आत्मा लोगों को हमारे स्वर्गीय पिता को इंगित करने के लिए कक्षा का उपयोग करेगा, मैं सार्वजनिक बोलने के बारे में अपनी घबराहट को अलग कर सकता था l जब यीशु ने अपने चेलों को अपना पहाड़ी उपदेश में सिखाया, तो उसने उनसे कहा, “तुम जगत की क्योंति हो l जो नगर पहाड़ पर बसा हुआ है वह छिप नहीं सकता l और लोग दीया जलाकर पैमाने के नीचे नहीं परन्तु दीवट पर रखते हैं, तब उस से घर के सब लोगों को प्रकाश पहुँचता है” (मत्ती 5:14-15) l

उन शब्दों को पढ़ते हुए, मैंने आखिरकार सोशल मिडिया पर एक कक्षा की घोषणा की l लगभग तुरंत, लोगों ने पंजीकरण शुरू किया – आभार और उत्साह व्यक्त किया l उनकी प्रतिक्रियाओं को देखकर, मैंने यीशु की शिक्षा पर और अधिक विचार किया : “उसी प्रकार तुम्हारा उजियाला मनुष्यों के सामने चमके कि वे तुम्हारे भले कामों को देखकर तुम्हारे पिता की, जो स्वर्ग में है, बडाई करें l

उस परीप्रेक्ष्य के साथ, मैंने कक्षा को आनंद के साथ पढ़ाया l मैं प्रार्थना करता हूँ कि मेरा सरल काम एक प्रकाशस्तंभ बन जाए और दूसरों को भी परमेश्वर के लिए अपना प्रकाश चमकाने के लिए प्रोत्साहित करे l