मैं हाल ही में एक कॉलेज के दीक्षान्त में भाग लिया, जिसके दौरान वक्ता ने अपनी स्नातक डिग्री की प्रतीक्षा कर रहे युवा वयस्कों के लिए एक आवश्यक चुनौती प्रदान की l उन्होंने उल्लेख किया कि यह उनके जीवन का एक समय है जब हर कोई उनसे पूछ रहा है, “आगे क्या है?” वे आगे किस कैरियर/जीविका का पीछा करेंगे? वे आगे पढ़ाई कहाँ करेंगे या भविष्य में काम कहाँ करेंगे? तब उन्होंने कहा कि अधिक महत्वपूर्ण सवाल यह था कि वे अभी क्या कर रहे थे?
अपनी विश्वास यात्रा के संदर्भ में, वे कौन से दैनिक निर्णय ले रहे होंगे जो उन्हें यीशु के लिए जीने के लिए मार्गदर्शन करेंगे और खुद के लिए नहीं?
उनके शब्दों ने मुझे नीतिवचन की किताब की याद दिला दी, जो बताती है कि अब कैसे जीना है l उदाहरण के लिए : वर्तमान में, ईमानदारी का अभ्यास(11:1); वर्तमान में, सही मित्रों का चयन (12:26); वर्तमान में, ईमानदारी से जीना(13:6); वर्तमान में, अच्छा निर्णय लेना(13:15); वर्तमान में, समझदारी से बोलना(14: 3) l
वर्तमान में परमेश्वर के लिए पवित्र आत्मा की अगुवाई में जीना, आगे के लिए निर्णय लेना सरल बना देता है l “बुद्धि यहोवा ही देता है; . . . वह सीधे लोगों के लिए खरी बुद्धि रख छोड़ता है . . . जो खराई से चलते हैं, उनके लिए वह ढाल ठहरता है . . . और अपने भक्तों के मार्ग की रक्षा करता है” (2:6-8) l परमेश्वर वर्तमान में उसके दिशानिर्देशों के अनुकूल जीवन जीने के लिए हमारे ज़रूरतों का प्रबंध करे, और आगे उसके आदर के लिए क्या है में हमारा मार्गदर्शन करें l
अभी आपको परमेश्वर को आदर देने के लिए दिशा में क्या बदलाव करने की आवश्यकता है? आप ऐसा करने में परमेश्वर के मार्गदर्शन और सशक्तिकरण की तलाश कैसे कर सकते हैं?
स्वर्गिक पिता, आज मेरे जीवन में आपके मार्गदर्शन के लिए धन्यवाद, मेरी रक्षा करें और मुझे इस तरह जीने का ज्ञान दें जिससे आप प्रसन्न हों और यह प्रगट हो कि आप कौन हैं l