अंग्रेजी संगीत में सबसे अधिक हृदय स्पर्शी गानों में से एक द ग्रेटेस्ट शोमैन (TheGreatestShowman) तब गया जाता है जब मुख्य चरित्र को पीड़ादायक आत्मबोध होता है कि उसके पास घायल परिवार और मित्र हैं, यह गाना घर वापसी का जश्न मनाता है और यह जानना कि जो हमारे पास पहले से है वह पर्याप्त से अधिक है l
होशे की किताब एक समान स्वर के साथ अंत करता है——उस पुनर्स्थापन के प्रति सरगर्म ख़ुशी और आभार, जो परमेश्वर उनके लिए सम्भव बनाता है जो उसके पास लौटते हैं l किताब के अधिकतर भाग, परमेश्वर और उसके लोगों के बीच सम्बन्ध की तुलना एक बेवफा जीवनसाथी के साथ करता है, इस्राएल का उससे प्रेम करने और उसके लिए जीने में विफल होने पर दुखित होता है l
लेकिन अध्याय 14 में, होशे प्रभु के असीम प्रेम, अनुग्रह और पुनर्स्थापन की प्रतिज्ञाओं की प्रशंसा करता है——जो उनके लिए आसानी से उपलब्ध थीजो उसे त्याग देने के बावजूद टूटे दिल से उसके पास लौटते हैं (पद.1–3) l “मैं उनके भटक जाने की आदत को दूर करूंगा, “परमेश्वर वायदा करता है, “मैं सेंतमेंत उन से प्रेम करूंगा” (पद.4) l और जो मरम्मत के परे टूटा हुआ लग रहा था वह एक बार फिर पूर्णता और प्रचुरता पाएगा, जब ओस के समान परमेश्वर का अनुग्रह, उसके लोगों को “सोसन के समान [फूलने-फलने]” और “अनाज के समान [बढ़ने]” का कारण होगा (पद.5-7) l
जब हमने दूसरों को चोट पहुँचाया है या अपने जीवन में परमेश्वर की भलाइयों का महत्व नहीं समझा है, तो यह मान लेना आसान हो जाता है कि जो अच्छे उपहार हमें मिले हैं हमने उन्हें हमेशा के लिए बिगाड़ दिया है l लेकिन जब हम नम्रता से उसकी ओर मुड़ते हैं, हम पाते हैं कि उसका प्रेम गले लगाने और पुनर्स्थापित करने के लिए हमेशा पहुंचता है l
आपने कब संभव से परे पुनर्स्थापन का अनुभव किया या देखा है? आपके जीवन के किन क्षेत्रों में आपको चंगा करने और पुनर्स्थापित करने में परमेश्वर की प्रतिज्ञा के आश्वासन की जरूरत है?
प्रिय परमेश्वर और जिन्दगी के कर्ता, मुझे आपकी भलाई में भरोसा करना सिखाइए——केवल उस समय नहीं जब मैं अच्छा हूँ, लेकिन हर समय l