स्वास्थ्य सम्बन्धी एक और झटके के बाद, मुझे अज्ञात और बेकाबू होने का डर था l एक दिन, फोर्ब्स पत्रिका का लेख पढ़ते समय, मुझे पता चला कि वैज्ञानिकों ने “पृथ्वी के चक्कर वेग” के बढ़ने का अध्ययन किया और घोषणा की कि पृथ्वी “डगमगा रही है” और “तेजी से घूम रही है l” उन्होंने कहा कि हमें “पहली बार “ड्राप सेकंड(drop second)—वैश्विक समय से एक सेकंड का आधिकारिक निष्कासन—की आवश्यकता हो सकती है l हालांकि एक सेकंड बहुत बड़ी हानि नहीं लगती, लेकिन यह जानना कि पृथ्वी का चक्कर बदल सकता है, मेरे लिए बहुत बड़ी बात थी l थोड़ी सी भी अस्थिरता मेरे विश्वास को डगमगा सकती है l हालाँकि, यह जानने से कि ईश्वर  नियंत्रण रखता है, मुझे उस पर भरोसा करने में मदद मिलती है, चाहे हमारे अज्ञात कितने भी डरावने हों या हमारी परिस्थितियाँ कितनी भी अस्थिर क्यों न हों l 

भजन 90 में, मूसा ने कहा, “इससे पहले कि पहाड़ उत्पन्न हुए, या तू ने पृथ्वी और जगत की रचना की, वरन् अनादिकाल से अनंतकाल तक तू ही परमेश्वर है” (पद.2) l समस्त सृष्टि पर ईश्वर की असीमित शक्ति, नियंत्रण और अधिकार को स्वीकार करते हुए, मूसा ने घोषणा की कि समय ईश्वर को रोक नहीं सकता (पद.3-6) l 

जैसे-जैसे हम ईश्वर और उसके द्वारा रचित अद्भुत संसार के बारे में और अधिक जानना चाहते हैं, हमें पता चलेगा कि वह कैसे समय और अपनी बनायी गयी सभी चीज़ों का पूरी तरह से प्रबंधन करता है l हमारे जीवन में हर अज्ञात और नयी खोजी गयी चीज़ के लिए भी ईश्वर पर भरोसा किया जा सकता है l सारी सृष्टि ईश्वर के प्रेमपूर्ण हाथों में सुरक्षित रहती है l