खबर भयभीत करनेवाला था l पहले से ही प्रोस्टेट(prostate) कैंसर से बच जाने के बाद, मेरे पिता को अब अग्नाशय(pancreas) के कैंसर का पता चला था । मामलों को जटिल बनाएँ, तो  मेरे पिता मेरी माँ की पूर्णकालिक देखभाल करते हैं, उनकी स्वयं की पुरानी बीमारियों में सहायता करते हैं । माता-पिता दोनों को देखभाल की आवश्यकता के साथ, आगे कुछ कठिन दिन आनेवाले थे ।

उनके साथ रहने के लिए फ्लाइट से लौटने के बाद, मैं रविवार को अपने माता-पिता के चर्च गयी l वहाँ, एक व्यक्ति ने यह कहते हुए मुझसे संपर्क किया, कि वह मदद करना चाहता है । दो दिन बाद, यह आदमी एक कार्यसूची के साथ हमारे घर आया । “कीमोथेरेपी शुरू होने पर आपको कुछ भोजन की आवश्यकता होगी,” उसने कहा । “मैं खाने की व्यवस्था कर दूँगा l घास कैसे काटी जाएगी? मैं कर सकता हूँ । और किस दिन आपका कूड़ा उठाया जाता है?” यह आदमी एक सेवानिवृत्त ट्रक ड्राइवर था, लेकिन हमारे लिए वह एक स्वर्गदूत बन गया । हमने पाया कि वह अक्सर दूसरों की मदद करता था जैसे अकेली माताएँ, बेघर और वृद्ध l

जबकि यीशु में विश्वासियों को दूसरों की मदद करने के लिए बुलाया गया है (लूका 10:25-37), कुछ लोगों के पास ऐसा करने की एक विशेष क्षमता होती है । प्रेरित पौलुस इसे दया का उपहार कहता है (रोमियों 12: 8)। यह उपहार प्राप्त लोग आवश्यकताओं को पहचान लेते हैं, व्यावहारिक सहायता देते हैं, और अभिभूत हुए बिना अधिक सेवा कर पाते हैं । पवित्र आत्मा द्वारा प्रेरित, ये मसीह के शरीर के हाथ हैं, जो हमारे घावों की देखभाल करते हैं (पद.4-5) ।

हाल ही में पिताजी का कीमोथेरेपी का पहला दिन था, और हमारे सहायक स्वर्गदूत ने उन्हें अस्पताल पहुंचाया । उस रात मेरे माता-पिता का फ्रिज भोजन से भरा था ।

ट्रक ड्राइवर के हाथों से परमेश्वर की दया ।