स्पेन में एक जंगल की आग ने, लगभग 50,000 एकड़ वनप्रदेश को झुलसा दिया । हालांकि, तबाही के बीच, लगभग 1,000 उज्ज्वल हरे सरू के पेड़ों(cypress trees) का एक समूह खड़ा रहा । पानी को धारण करने की पेड़ों की क्षमता ने उन्हें सुरक्षित रूप से आग को सहन करने दी थी ।

बाबुल/बेबीलोन में राजा नबूकदनेस्सर के शासनकाल के दौरान, दोस्तों का एक छोटा समूह राजा के क्रोध की ज्वाला से बच गया । शद्रक, मेशक और अबेदनगो ने नबूकदनेस्सर द्वारा बनाई गई एक मूर्ति की पूजा करने से इनकार कर दिया, और उससे कहा, “हमारा परमेश्वर, जिसकी हम उपासना करते हैं वह हम को उस धधकते हुए भट्ठे की आग से बचाने की शक्ति रखता है” (दानिय्येल 3:17) । क्रोध से भरकर, राजा ने भट्ठे को सातगुणा अधिक धधका दिया (पद.19) l

राजा के आदेशों को मानने वाले और मित्रों को आग में झोंकने वाले सैनिक सब जल गए, फिर भी दर्शकों ने शद्रक, मेशक और एबेदनगो को आग की लपटों के बीच “खुले हुए [टहलते] देखा l” कोई और भी भट्ठे में था – एक चौथा आदमी जो “ईश्वर पुत्र के सदृश” था (पद.25) l अनेक विद्वानों का यह मानना है कि वह यीशु का देहधारण से पूर्व का एक प्रगटन था ।

जब हम भय और आजमाईशों का सामना करते हैं तो यीशु हमारे साथ है । जिन क्षणों में हम दबाव में आकर हार मानने लगते हैं, हमें डरने की ज़रूरत नहीं है । हम हमेशा यह नहीं जान सकते कि परमेश्वर हमारी सहायता कैसे या कब करेगा, लेकिन हम जानते हैं कि वह हमारे साथ है । वह हमें हर उस “आग” के द्वारा जिसमें होकर हम जाते हैं हमें अपने प्रति वफादार रहने की शक्ति देता है ।