लीला कैंसर से मर रही थी, और उसका पति, तिमोथी, यह नहीं समझ पा रहा था कि एक प्रेमी परमेश्वर अपनी पत्नी को पीड़ित क्यों होने देगा l उसने ईमानदारी से एक बाइबल शिक्षक और सलाहकार के रूप में कई लोगों की सेवा उसकी की थी l “आपने ऐसा क्यों होने दिया?” उसने पुकारा l इसके बावजूद तिमोथी परमेश्वर के साथ चलने में विश्वासयोग्य रहा l

“तो अभी भी तुम परमेश्वर में विश्वास क्यों करते हो?” मैंने उससे खुलकर पूछा l “कौन सी बात तुम्हें उससे दूर नहीं जाने देता है?”

“पहले जो हुआ है, उसके कारण,” तिमोथी ने जवाब दिया l जबकि वह अब परमेश्वर को “देख” नहीं सकता था, उसने उन समयों को याद किया जब परमेश्वर ने उसकी मदद की थी और उसकी रक्षा की थी l ये संकेत थे कि परमेश्वर अभी भी उसके परिवार की देखभाल कर रहा था l “मैं उस परमेश्वर को जानता हूँ जिसमें मैं विश्वास करता हूँ जो अपने तरीके से मदद करेगा,” उसने कहा l

तिमोथी के शब्द यशायाह 8:17 में लिखी यशायाह की अभिव्यक्ति को प्रतिध्वनित करती है l यहाँ तक कि जब वह परमेश्वर की उपस्थिति महसूस नहीं कर सकता था क्योंकि उसके लोग अपने शत्रुओं की ओर से मुसीबत के लिए तैयारी कर रहे थे, वह “यहोवा की बाट [जोहेगा] l” उसने परमेश्वर में उन संकेतों के कारण भरोसा किया जो उसने अपनी निरंतर उपस्थिति के विषय दिया था (पद.18) l

ऐसे समय होते हैं जब हम महसूस कर सकते हैं कि हमारी परेशानियों में परमेश्वर हमारे साथ नहीं है l ऐसे समय में ही हम अपने जीवन में उसके कार्यों को अतीत और वर्तमान में देख सकते हैं l वे ही अदृश्य परमेश्वर के दृश्य अनुस्मारक हैं – एक परमेश्वर जो हमेशा हमारे साथ है और अपने समय और तरीके से उत्तर देगा l