पहाड़ों में पैदल यात्रा के दौरान,  एड्रियन ने खुद को बादलों के ऊपर पाया जो सामान्य से नीचे स्तर पर थे l अपने पीछे सूरज के साथ,  एड्रियन ने नीचे देखा और न केवल अपनी छाया देखी, बल्कि एक चमकदार प्रदर्शन जिसे ब्रोकेन स्पेक्टर(Broken Spectre) के रूप में जाना जाता है l  यह घटना एक इंद्रधनुष प्रभामंडल के सदृश होता है, जो व्यक्ति की छाया को घेरे रहता है l  यह तब होता है जब सूरज की रोशनी नीचे के बादलों से दूर वापस प्रतिबिंबित होती है l एड्रियन ने इसे एक “जादुई” पल के रूप में वर्णित किया’  जिसने उसे बहुत खुशी दी l

हम अंदाजा लगा सकते हैं कि उसी प्रकार नूह के लिए पहली बार इंद्रधनुष को देखना कितनी चौंकाने वाली बात रही होगी l उसकी आंखों के लिए एक खुशी से अधिक, मुड़ा हुआ प्रकाश और उससे निकले हुए रंग परमेश्वर की ओर से एक प्रतिज्ञा के साथ आए l विनाशकारी बाढ़ के बाद, परमेश्वर ने नूह और सभी ‘जीवित शरीरधारी प्राणियों” को आश्वासन दिया,  जो तब से जीवित हैं,  कि “ऐसा जल प्रलय फिर न होगा जिससे सब प्राणियों का विनाश हो” (उत्पत्ति 9:15) l

हमारी पृथ्वी अभी भी बाढ़ और अन्य भयावह मौसम का अनुभव करती है जिसके परिणामस्वरूप दु:खद नुकसान होता है,  लेकिन इंद्रधनुष एक प्रतिज्ञा है कि परमेश्वर कभी भी संसार का न्याय विश्वव्यापी जल प्रलय से नहीं करेगा l उसकी विश्वासयोग्यता की यह प्रतिज्ञा हमें याद दिला सकती है कि यद्यपि हम व्यक्तिगत रूप से इस धरती पर व्यक्तिगत नुकसान और शारीरिक मृत्यु का अनुभव करेंगे─चाहे बीमारी,  प्राकृतिक आपदा,  गलत काम, या बढ़ती उम्र के कारण─परमेश्वर हमें उन कठिनाइयों के दौरान अपने प्यार और उपस्थिति से संभालता है l जल में होकर धूप का प्रतिबिंबित होना उन लोगों से पृथ्वी को भरना जो उसकी छवि को धारण किये हुए हैं और दूसरों को उसकी महिमा को प्रतिबिंबित करते हैं की एक ताकीद है l