Month: जुलाई 2023

मदद के लिए एक पुकार

डेविड विल्स वाटरस्टोन्स बुकशॉप में ऊपर था जब वह नीचे आया और उसने पाया कि बत्तियाँ बंद थीं और दरवाज़े बंद थे। वह दुकान के अंदर फंसा हुआ था! और, यह नहीं जानते हुए, की क्या करना है उन्होंने ट्विटर की ओर रुख किया और ट्वीट किया: "हाय @Waterstones मैं आपके ट्राफलगर स्क्वायर किताबों की दुकान में 2 घंटे से बंद हूँ। कृपया मुझे बाहर निकाले। उसके ट्वीट के तुरंत बाद ही उसे छुड़ाया गया। 

जब हम मुसीबत में हों तो मदद पाने का रास्ता होना अच्छा है। यशायाह ने कहा कि कोई है जो हमारे पुकार का उत्तर देगा जब हम अपने ही बनाये हुए समस्यायों में फँस जाते हैं। भविष्यवक्ता ने लिखा है कि अपने लोगों पर परमेश्वर ने गैर-जिम्मेदार तरीके से धार्मिक भक्ति का अभ्यास करने का आरोप लगाया था। वे धर्म की गतियों से गुजर रहे थे लेकिन गरीबों के अपने उत्पीड़न को खोखले और स्वार्थी कर्मकांडों से छिपा रहे थे (यशायाह 58:1-7)।  इसे प्रभु खुश नहीं थे । परमेश्वर ने उनसे अपनी आँखें छिपा लीं और उनकी प्रार्थनाओं का उत्तर नहीं दिया (1:15)। उन्होंने उनसे पश्चाताप करने और दूसरों की परवाह करने के बाहरी कार्यों को प्रदर्शित करने के लिए कहा (58:6-7)। वे ऐसा करते तो उन्होंने उनसे कहा, “तब तू पुकारेगा और यहोवा उत्तर देगा; तू दुहाई देगा और वह कहेगा, 'मैं यहाँ हूँ।' यदि तू अंधेर करना और उँगली उठाना, और, दुष्ट बातें बोलना छोड़ दे,” (पद 9)।

आइए हम गरीबों के करीब जाएं, उनसे कहें: "मैं यहां हूं।" क्योंकि परमेश्वर हमारी दोहाई को सुनता है और हम से कहता है, “मैं यहां हूं।”

आत्मा में स्वतंत्र

न ऑरविल और न ही विल्बर राइट के पास पायलट का लाइसेंस था। न ही दोनों कॉलेज गए थे। वे साइकिल मैकेनिक थे जिनके पास एक सपना था और उड़ने का कोशिश करने का साहस था। 17 दिसंबर, 1903 को, उन्होंने अपने राइट फ़्लायर को चार अलग-अलग उड़ानों में चलाया। सबसे लंबा समय केवल एक मिनट तक चला, लेकिन इसने हमारी दुनिया को हमेशा के लिए बदल दिया।

न ही पतरस और न ही युहन्ना के पास प्रचार करने का लाइसेंस था। न ही दोनों सेमिनरी गए थे। वे मछुआरे थे, यीशु के आत्मा से भरे हुए, साहसपूर्वक सुसमाचार को प्रकट किया: “और किसी दूसरे के द्वारा उद्धार नहीं; क्योंकि स्वर्ग के नीचे मनुष्यों में और कोई दूसरा नाम नहीं दिया गया, जिसके द्वारा हम उद्धार पा सके।” (प्रेरितों 4:12)।

राइट ब्रदर्स के पड़ोसियों ने उनके उपलब्धि का तुरंत सराहना नहीं किया। उनके गृहनगर के अखबार ने उनकी कहानी पर विश्वास नहीं किया, और कहा कि भले ही सच हो, सार्थक होने के लिए उड़ान बहुत संक्षिप्त था। जनता के यह पहचानने से पहले कि उन्होंने वास्तव में क्या किया है, उन्हें अपने विमानों को उड़ाने और परिष्कृत करने में कई और साल लग गए।

धार्मिक अगुवे पतरस और यूहन्ना को पसंद नहीं करते थे, और उन्होंने उन्हें आदेश दिया कि वे दूसरों को यीशु के बारे में बताना बंद करें। पतरस ने कहा, बिल्कुल नहीं। “क्योंकि यह तो हम से हो नहीं सकता, कि जो हमने देखा और सुना है, वह न कहें।” (पद 20)।

हो सकता है कि आप स्वीकृत सूची में न हों। शायद आप उन लोगों द्वारा तिरस्कृत हैं जो सूची में हैं। यदि आपके पास यीशु का आत्मा है, तो आप उसके लिए साहसपूर्वक जीने के लिए स्वतंत्र हैं!

चॉकलेट बर्फ के टुकड़े

स्विट्ज़रलैंड के ओल्टेन के निवासी, पूरे शहर को चॉकलेट के टुकड़े के बौछार से ढंके हुए देखकर चकित थे। पास के एक चॉकलेट फैक्ट्री में वेंटिलेशन सिस्टम खराब हो गया था, जिससे कोको को हवा में हवा में गया और उस क्षेत्र को मिष्ठान्न अच्छाई से भर दिया। चॉकलेट कोटिंग चॉकलेट प्रेमियों के लिए एक सपने का सच होने जैसा लगता है!

जबकि चॉकलेट किसी के पोषण संबंधी आवश्यकताओं को पूरा नहीं करता, परमेश्वर ने इस्राएलियों को स्वर्गीय वर्षा प्रदान किया जिसने पोषण प्रदान किया। जब वे रेगिस्तान से यात्रा कर रहे थे, वे मिस्र में अपने पीछे छोड़े गए भोजन के बारे में कुड़कुड़ाने लगे। इसके उत्तर में, परमेश्वर ने उन्हें बनाये रखने के लिए कहा "देखो, मैं तुम लोगों के लिये आकाश से भोजन वस्तु बरसाऊँगा;" (निर्गमन 16:4)। हर दिन जब सुबह ओस सूखता था, तो भोजन का एक पतला टुकड़ा रह जाता था। लगभग बीस लाख इस्राएलियों को निर्देश दिया गया था कि जितना जरूरत हो वे उस दिन उतना ही इकट्ठा करें। चालीस वर्षों तक रेगिस्तान में भटकने के दौरान, वे मन्ना में परमेश्वर के अलौकिक प्रावधान द्वारा पोषित हुए। 

हम मन्ना के बारे में थोडा जानते हैं इसके अलावा की “... वह धनिया के समान श्वेत था, और उसका स्वाद मधु के बने हुए पूए का सा था।” (पद 31)। भले ही मन्ना चॉकलेट के एक स्थिर आहार के रूप में आकर्षक न लगता हो, परमेश्वर का अपने लोगों के लिए व्यवस्था का मिठास स्पष्ट है। मन्ना हमें यीशु की ओर केन्द्रित करता है जिन्होंने खुद को “जीवन की रोटी” (युहन्ना 6:48) के रूप में वर्णित किया जो हमें प्रतिदिन सम्भालता है और अनन्त जीवन का आश्वासन देता है (पद. 51)।

परिणामों से परे आशा

क्या आपने गुस्से में कभी कुछ ऐसा किया है जिसके लिए बाद में आपको पछतावा हुआ? जब मेरा बेटा नशे की लत से जूझ रहा था, मैंने उसके पसंद के प्रतिक्रिया में कुछ कड़वी बातें बोला। मेरे गुस्से ने उसे केवल और अधिक हतोत्साहित कर दिया। लेकिन अंत में वह विश्वासियों से मिला जिन्होंने उस से जीवन और आशा की बातें कीं, और कुछ समय में वह स्वतन्त्र हो गया। 

यहाँ तक कि मूसा जैसे विश्‍वास में अनुकरणीय व्यक्‍ति ने भी कुछ ऐसा किया जिसे उसने बाद में पछताया। जब इस्राएल के लोग मरुभूमि में थे और पानी की कमी थी, तब उन्होंने कटु होकर कुड़कुड़ाया। इसलिए परमेश्वर ने मूसा और हारून को विशेष निर्देश दिए: “ ...उस चट्टान से बातें कर, तब वह अपना जल देगी;...” (गिनती 20:8) लेकिन मूसा ने क्रोध में प्रतिक्रिया व्यक्त किया, चमत्कार के लिए परमेश्वर के बजाय खुद को और हारून को श्रेय दिया: “हे बलवा करनेवालों, सुनो; क्या हमको इस चट्टान में से तुम्हारे लिये जल निकालना होगा?” (पद 10). फिर उसने सीधे परमेश्वर का अवज्ञा किया और “तब मूसा ने हाथ उठाकर लाठी चट्टान पर दो बार मारी;” (पद 11)।

भले ही पानी बहा, लेकिन इसका दुखद परिणाम हुआ। न मूसा और न ही हारून को उस देश में प्रवेश करने का अनुमति मिला जिसे परमेश्वर ने अपने लोगों से वादा किया था। परन्तु वह फिर भी दयालु थे, उन्होंने मूसा को इसे दूर से देखने का अनुमति दीया (27:12-13)। 

मूसा की तरह, परमेश्वर अभी भी उसके प्रति हमारी अनाज्ञाकारिता के रेगिस्तान में हमसे दयापूर्वक मिलता है। यीशु के मृत्यु और पुनरुत्थान के द्वारा, वह हमें क्षमा और आशा प्रदान करता है। भले ही हम कहीं रहे हो या हमने कुछ किया हो, यदि हम उसकी ओर मुड़ें, तो वह हमें जीवन की तरफ अगुआई करेगा।

हमारे अंदर आत्मा के कार्य

पढ़ें: प्रेरितों के काम 4:13-37

क्योंकि यह तो हम से हो नहीं सकता, कि जो हमने देखा और सुना है, वह न कहें। (पद 20)

एक दिन मैंने ध्यान दिया कि पक्षी को खिलाने वाला खाने का बर्तन जो थोड़ी दूरी पर लटक रहा था, उसको मैं भरना भूल गया था। वहाँ पंहुचकर जब मैं उसे भरने लगा, मैं रुका और देखा…