जब वह फ़्रांसिसी सैनिक अपने सैनिक मोर्चाबंदी को मजबूत करने के लिए, मरुभूमि के रेत में खोद रहा था, उसे बिलकुल नहीं पता था कि वह एक महत्वपूर्ण खोज करेगा l एक और बेलचा भर रेत को हटाते हुए, उसने एक पत्थर देखा l केवल एक पत्थर नहीं l यह रोज़ेटा पाषाण (Rosetta Stone) था, जिसमें तीन भाषाओं में लिखे टॉलेमी पंचम के क़ानून और शासन प्रणाली थे l वह पत्थर (अब ब्रिटिश संग्रहालय में रखा है) उन्नीसवीं सदी के सबसे महत्वपूर्ण पुरातात्विक खोज में से एक होगा, जो प्राचीन मिस्र के लेखन जिसे चित्रलिपि (hieroglyphics) के नाम से जाना जाता है के रहस्यों को उजागर करने में मदद करेगा l 

हममें से कई लोगों के लिए, पवित्रशास्त्र का बहुत सा हिस्सा गहरे रहस्य में लिपटा हुआ है l फिर भी, क्रूस की मृत्यु से पूर्व की रात में, यीशु ने अपने अनुयायियों से वादा किया कि वह पवित्र आत्मा भेजेगा l उसने उनसे कहा, “परन्तु जब वह अर्थात् सत्य का आत्मा आएगा, तो तुम्हें सब सत्य का मार्ग बताएगा, क्योंकि वह अपने ओर से न कहेगा परन्तु जो कुछ सुनेगा वही कहेगा, और आनेवाली बातें तुम्हें बताएगा” (यूहन्ना 16:13) l एक अर्थ में, पवित्र आत्मा, हमारा दिव्य रोज़ेटा पत्थर है, जो सत्य पर प्रकाश डालता है जिसमें बाइबल के रहस्यों के सत्य शामिल हैं l  

जब हमें पवित्रशास्त्र में दी गयी हर चीज़ की पूर्ण समझ का वादा नहीं किया गया है, तो हमें भरोसा हो सकता है कि आत्मा द्वारा हम यीशु का अनुसरण करने के लिए हमारे लिए आवश्यक हर चीज़ को समझ सकते हैं l वह उन महत्वपूर्ण सच्चाइयों में हमारा मार्गदर्शन करेगा l