छः वर्ष की उम्र में मैं पहली बार अपने बड़े भाई के साथ रोलर कोस्टर(टेढ़ा-मेढ़ा घुमावदार रेल पथ) का आनंद लिया l जैसे ही वह तीव्र गति से मुड़ा मैंने चिल्लाना शुरू किया : “इसे अभी रोक दो ! मैं उतरना चाहता हूँ!” रोलर कोस्टर नहीं रुका, और मुझे पूरे सैर में “अत्यधिक तनाव में” उसे पूरी ताकत से थामे रहना पड़ा l 

कभी-कभी जीवन भी अनचाहे रोलर कोस्टर सैर के समान हो सकता है जिसमें सीधी “ढलान” और दोहरे मोड़ हैं जिनसे हम अज्ञान हैं l जब अनापेक्षित कठिनाइयां आती हैं, बाइबिल हमें याद दिलाती है कि हमारा परमेश्वर पर भरोसा करना ही हमारा सर्वोत्तम उपाय है l वह अशांत समय ही था जब आक्रमण द्वारा उसके देश को धमकी दिए जाने पर नबी यशायाह ने आत्मा से प्रेरित होकर परमेश्वर की ओर से इस प्रबल प्रतिज्ञा को पहचाना :  “जिसका मन तुझ में धीरज धरे हुए है, उसकी तू पूर्ण शांति के साथ रक्षा करता है, क्योंकि वह तुझ पर भरोसा रखता है” (यशायाह 26:3) l

उद्धारकर्ता की ओर उन्मुख होने से प्राप्त शांति “समझ से परे है” (फ़िलि. 4:7) l मैं स्तन कैंसर पीड़ित महिला के शब्द भूल नहीं सकता हूँ l एक शाम हमारी कलीसिया के एक समूह द्वारा उसके लिए प्रार्थना करने के बाद, उसने कहा, “मैं नहीं जानती क्या होगा, किन्तु मैं जानती हूँ कि मैं ठीक हो जाउंगी, क्योंकि आज शाम प्रभु हमारे साथ था l”

जीवन के पास अपनी परेशानियाँ होंगी, किन्तु जीवन की अपेक्षा हमसे अधिक प्रेम करनेवाला हमारा प्रभु, उन सबसे महान है l